MahaKumbh Drone Show: प्रयागराज में ड्रोन शो का अद्भुत नजारा, अमृत स्नान के लिए तैयारियां जोरों पर
महाकुंभ 2025, Mahakumbh Drone Show: प्रयागराज में कुंभ मेले के दौरान रात के समय आसमान में ड्रोन शो का अद्भुत नजारा देखने को मिला।
ड्रोन के माध्यम से आसमान को एक कैनवास में बदल दिया गया, जिसमें महाकुंभ का लोगो और उत्तर प्रदेश सरकार का प्रतीक चिह्न उकेरा गया।
शुक्रवार को महाकुंभ के सेक्टर 7 में तकनीक और भक्ति का अनूठा संगम देखने को मिला, जब ड्रोन शो का आयोजन किया गया। उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग ने सैकड़ों ड्रोन का इस्तेमाल करके आकाश में शानदार दृश्य बनाए। इनमें देवताओं को “अमृत कलश” से पीते हुए और “समुद्र मंथन” की दिव्य झांकी को दर्शाया गया, जिसने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया।
ड्रोन शो में शंख बजाते साधु और संगम के पवित्र जल में डूबते संन्यासियों की झलक ने इस आयोजन को और भी आध्यात्मिक और यादगार बना दिया।
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शो का मुख्य आकर्षण विधानसभा भवन पर लहराता हुआ भव्य भारतीय तिरंगा था, जिसने दर्शकों में देशभक्ति और गर्व की भावना को और प्रबल किया। यह अभिनव ड्रोन शो महाकुंभ के आध्यात्मिक और सांस्कृतिक महत्व को प्रभावशाली ढंग से दर्शाने में सफल रहा, जिसने उपस्थित लोगों पर एक अमिट छाप छोड़ी।
ड्रोन शो के दौरान उत्तर प्रदेश दिवस का भी जश्न मनाया गया, जिसमें उत्तर प्रदेश की सांस्कृतिक झांकियों ने शो की शोभा बढ़ाई।
29 जनवरी को महाकुंभ का अमृत स्नान
उत्तर प्रदेश सरकार ने शुक्रवार को जानकारी दी कि 29 जनवरी को महाकुंभ में मौनी अमावस्या के अमृत स्नान के लिए लगभग 10 करोड़ श्रद्धालुओं के आने की उम्मीद है। इस बड़े आयोजन के लिए यातायात और भीड़ को सुचारु रूप से प्रबंधित करने के लिए व्यापक इंतजाम किए जा रहे हैं।
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स्नान अनुष्ठान को कुंभ मेले का सबसे महत्वपूर्ण धार्मिक आयोजन माना जाता है। हालांकि मकर संक्रांति से शुरू होने वाले प्रत्येक दिन पवित्र जल में स्नान करना शुभ होता है, लेकिन कुछ विशेष तिथियां ‘अमृत स्नान’ के रूप में जानी जाती हैं।
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29 जनवरी को मौनी अमावस्या के दिन यह मेले की तीसरी शुभ स्नान तिथि होगी। इससे पहले दो शुभ स्नान तिथियां 13 जनवरी (पौष पूर्णिमा) और 14 जनवरी (मकर संक्रांति) को थीं। इसके बाद 3 फरवरी (बसंत पंचमी), 12 फरवरी (माघी पूर्णिमा), और 26 फरवरी (महाशिवरात्रि) को भी अमृत स्नान के आयोजन होंगे।
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हर 12 वर्षों में आयोजित होने वाला महाकुंभ, जिसे दुनिया का सबसे बड़ा आध्यात्मिक आयोजन और त्रिवेणी संगम का प्रमुख हिंदू तीर्थ माना जाता है, 13 जनवरी को शुरू हुआ और 26 फरवरी तक चलेगा।