राष्ट्रीय हथकरघा दिवस का इतिहास (History Of National Handloom Day)
हमारे देश की समृद्ध और विविध सांस्कृतिक विरासत का प्रतीक है हथकरघा क्षेत्र। हथकरघा हमारे देश के ग्रामीण और अर्ध- ग्रामीण क्षेत्रों में आजीविका का एक मुख्य स्रोत है। हथकरघा एक ऐसा क्षेत्र है जो सीधे तौर पर महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा देता है। इस क्षेत्र में 70% से अधिक महिलाएं हैं। हथकरघा उद्योग पर्यावरण के अनुकूल होता है। इसमें ऊर्जा और पूंजी की अधिक आवश्यकता नहीं पड़ती। प्रत्येक वर्ष 7 अगस्त को राष्ट्रीय हथकरघा दिवस(National Handloom Day)मनाया जाता है। इस दिन भारतीय ब्रांडो और खादी को विश्व भर में पहुंचाने की पहल की जाती है।