October 15, 2024
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रक्तदान से आप दे सकते हैं किसी को जीवनदान, ब्लड डोनेट करने से होने वाले फायदे :National Voluntary Blood Donation Day 2023

राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस (National Voluntary Blood Donation Day) 1 October 2023
भारत में प्रत्येक वर्ष 1 अक्टूबर को राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस मनाया जाता है। यह दिन व्यक्ति के जीवन में रक्त के महत्व और आवश्यकता को साझा करने के उद्देश्य से मनाया जाता है। रक्तदान एक ऐसा दान है, जिसका कोई मूल्य नहीं है। यदि समय पर मरीज को रक्त ना मिले तो जान भी जा सकती है। अतः स्वेच्छा से रक्तदान करने के लिए इस दिन लोगों को जागरूक किया जाता है।

राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस (National Voluntary Blood Donation Day) 1 October 2023

NATIONAL VOLUNTARY BLOOD DONATION DAY 2023_राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस 2023

भारत में प्रत्येक वर्ष 1 अक्टूबर को राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस मनाया जाता है

भारत में प्रत्येक वर्ष 1 अक्टूबर को राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस (National Voluntary Blood Donation Day ) मनाया जाता है। यह दिन व्यक्ति के जीवन में रक्त के महत्व और आवश्यकता को साझा करने के उद्देश्य से मनाया जाता है। रक्तदान एक ऐसा दान है, जिसका कोई मूल्य नहीं है। यदि समय पर मरीज को रक्त ना मिले तो जान भी जा सकती है। अतः स्वेच्छा से रक्तदान करने के लिए इस दिन लोगों को जागरूक किया जाता है।

राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस मनाने की शुरुआत कब हुई (When is National Voluntary Blood Donation Day Started) ?

1975 में 1 अक्टूबर को पहली बार राष्ट्रीय स्वैच्छिक मतदान दिवस (National Voluntary Blood Donation Day ) मनाया गया था। इंडियन सोसाइटी ऑफ़ ब्लड ट्रांसफ्यूजन एंड इम्यूनोहैमेटोलॉजी’ द्वारा इस विशेष दिन की शुरुआत की गई थी। इंडियन सोसाइटी ऑफ़ ब्लड ट्रांसफ्यूजन एंड इम्यूनोहैमेटोलॉजी की स्थापना 1971 में डॉक्टर जे.जी. जौली और मिसीज के. स्वरूप के नेतृत्व में हुई थी।

राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस का महत्व (Significance of National Voluntary Blood Donation Day) ?

किसी भी व्यक्ति द्वारा किया गया रक्तदान (Blood Donation) एक जरूरतमंद व्यक्ति के लिए जीवन दान के समान होता है। एक स्वस्थ व्यक्ति को रक्तदान करते रहना चाहिए। किसी दुर्घटना या बीमारी से जूझ रहे लोगों को रक्ताल्पता से बचाने के लिए हमें यह महादान करते रहना चाहिए। जिससे हम किसी की जिंदगी बचाने में अपना योगदान दे सकते हैं। कुछ रक्त समूह दुर्लभ होते हैं जो बहुत कम उपलब्ध हो पाते हैं और यदि इस दुर्लभ रक्त समूह के व्यक्ति को रक्त की आवश्यकता पड़ती है तो रक्त ना मिलने पर जान को भी खतरा हो सकता है। अतः दुर्लभ रक्त समूह वाले व्यक्तियों को अवश्य ही रक्तदान करते रहना चाहिए।

राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस का उद्देश्य (Objectives of National Voluntary Blood Donation Day) ?

राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस (National Voluntary Blood Donation Day ) का उद्देश्य है लोगों के मन में रक्तदान के प्रति भ्रांतियां को दूर कर जागरूकता पैदा करना। हमारे समाज में जागरूकता के साथ कुछ भ्रांतियां भी हैं। रक्तदान (Blood donation) के प्रति भी इसी प्रकार की भ्रांतियां हैं जैसे- रक्तदान से व्यक्ति का शरीर कमजोर हो जाता है, रक्तदान से शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता कम हो जाती है आदि। इन भ्रांतियों को लोगों के मन से दूर करके रक्तदान के महत्व से अवगत कराना इस दिन का मुख्य उद्देश्य है।

इसके अतिरिक्त इस दिन का प्रमुख उद्देश्य है सफलता पूर्वक जरूरतमंद रोगियों की तत्काल जरूरत को पूरा करने के लिए सुरक्षित रक्तदान के लाभ को प्राप्त करना,किसी भी गंभीर परिस्थितियों के लिए ब्लड बैंक से रक्त का संग्रह करना, उन लोगों को भी रक्तदान के लिए प्रेरित करना जो स्वस्थ होने के बावजूद रक्तदान नहीं करते, ऐसे लोगों को स्वेच्छा से रक्तदान के लिए प्रेरित करना जो सिर्फ अपने सगे- संबंधियों को ही रक्तदान करते हैं, रक्तदाताओं को प्रोत्साहित करना और देशभर के सभी लोगों को स्वैच्छिक रक्तदान के महत्व के बारे में जागरूक करना।

रक्तदान कौन कर सकता है (Who can Donate Blood) ?

  • 18 से 65 वर्ष तक की उम्र का व्यक्ति रक्तदान कर सकता है
  • रक्तदान करने वाले का वजन 45 किलोग्राम से काम नहीं होना चाहिए।
  • रक्तदान करने वाले के शरीर में हीमोग्लोबिन का स्तर निर्धारित मानक 5 से अधिक होना चाहिए।
  • रक्तदान करने वाला एचआईवी, हेपेटाइटिस बी या हेपेटाइटिस सी जैसी बीमारी से ग्रसित ना हो।

कौन नहीं कर सकता है रक्तदान (Who cannot Donate Blood) ?

  • नशे का सेवन करने वाले को रक्तदान नहीं करना चाहिए
  • गर्भवती महिलाओं को रक्तदान नहीं करना चाहिए।
  • हिमोग्लोबिन का स्तर निर्धारित मानक से कम होने पर भी रक्तदान नहीं करना चाहिए।
  • डायबिटीज, एचआईवी या हेपेटाइटिस जैसी गंभीर बीमारियों से ग्रसित व्यक्ति को रक्तदान नहीं करना चाहिए।
  • यदि किसी व्यक्ति के रक्तदान किए हुए 90 दिन नहीं हुआ है तो वह 90 दिन से पहले रक्तदान नहीं कर सकता है।

रक्तदान से क्या है लाभ(What is the benefit of Blood Donation)

एक बार में दिए गए 350 मिलीग्राम रक्त की पूर्ति शरीर में 24 घंटे के अंदर हो जाती है और गुणवत्ता की पूर्ति 21 दिनों के अंदर हो जाती है। रक्तदान के कई लाभ हैं जैसे-

  • जो व्यक्ति नियमित रक्तदान करते हैं उन्हें हृदय संबंधी बीमारियां कम परेशान करती हैं
  • रक्त की संरचना ऐसी है कि उसमें समाहित लाल रक्त कोशिकाएं तीन माह में स्वयं ही मर जाती है अतः प्रत्येक स्वस्थ व्यक्ति को 3 माह में एक बार रक्तदान अवश्य करना चाहिए
  • रक्तदान करते रहने से नवीन लाल रक्त कणिकाओं का निर्माण होता है।
  • रक्त संचार सही रहता है।
  • रक्त प्रवाह सुचारू रहता है

कैसे मनाया जाता है राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस (How is National Voluntary Blood Donation Day Celebrated) ?

राष्ट्रीय शैक्षिक रक्तदान दिवस (National Voluntary Blood Donation Day ) के अवसर पर सभी राज्यों में लोगों को रक्तदान के बारे में जागरूक करने के लिए विभिन्न प्रकार के जागरूकता कार्यक्रम, शिविरों और अनुपूरक प्रचार गतिविधियों का आयोजन किया जाता है। इस दिन लोगों को रक्तदान के लिए प्रेरित किया जाता है।

रक्तदान (Blood Donation) एक महादान है। जरूरतमंद व्यक्ति को रक्तदान आधुनिक स्वास्थ्य देखभाल प्रणाली में मानवता का बहुत महत्वपूर्ण हिस्सा बन गया है। रक्त देने वाले और रक्त पाने वाला कौन है, इससे कोई फर्क नहीं पड़ता। संभव है कि रक्त पाने वाला भविष्य में रक्तदाता बन जाए। इसलिए स्वेच्छा से रक्तदान करना जीवन रक्षा की प्रक्रिया में मानवता का महान और महत्वपूर्ण कार्य है। रक्तदान सिर्फ अपने सगे संबंधियों के ही ना करके किसी भी जरूरतमंद के लिए स्वैच्छिक रक्तदान मानवता का धर्म है। अतः हम स्वेच्छा से रक्तदान करके बहुत सी जिंदगियों को बेमौत मरने से बचा सकते हैं।

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