July 27, 2024

क्या कुरुक्षेत्र में भाजपा की जीत का रथ आगे बढ़ा पाएंगे नवीन जिंदल ?

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कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हुए उद्योगपति नवीन जिंदल कुरुक्षेत्र से लोकसभा के चुनाव में मैदान में उतरे हैं। यहां उनका मुकाबला आम आदमी पार्टी के पूर्व राज्यसभा सांसद सुशील गुप्ता से है। कुरुक्षेत्र के मैदान में नवीन जिंदल पर भाजपा को जीत दिलाने की जिम्मेदारी है।

वैसे तो कुरुक्षेत्र पहले जिंदल परिवार के साथ रहा है। लेकिन 2014 की मोदी लहर में नवीन जिंदल को कांग्रेस उम्मीदवार के रूप में हार का सामना करना पड़ा था। 2014 से यह सीट भाजपा के पास हीं है और 2024 में नवीन जिंदल ने कांग्रेस छोड़कर भाजपा का दामन थाम लिया है। अब वह इस सीट से नवीन भाजपा प्रत्याशी के रूप में चुनाव मैदान में उतरे हैं।

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कौन है नवीन जिंदल (Who is Naveen Jindal) ?

नवीन जिंदल का जन्म 9 मार्च 1970 को हिसार में उद्योगपति ओपी जिंदल और सावित्री जिंदल के घर हुआ। दिल्ली पब्लिक स्कूल से आरंभिक शिक्षा लेने के बाद 1990 में दिल्ली के हंसराज कॉलेज से स्नातक किया। बाद में अमेरिका की यूनिवर्सिटी आफ टैक्सास से एमबीए किया।

नवीन जिंदल का राजनीतिक सफर

नवीन जिंदल का छात्र जीवन में ही राजनीति से परिचय हुआ, जब वह टेक्सास विश्वविद्यालय में छात्र संघ के अध्यक्ष बने। अमेरिका में स्नातक उत्तर करने के बाद नवीन जिंदल भारत लौट आए और अपने पिता की विरासत को संभालने का निश्चय किया। नवीन जिंदल ने हरियाणा के प्रतिष्ठित कुरुक्षेत्र निर्वाचन क्षेत्र से लोकसभा चुनाव में कांग्रेस उम्मीदवार के रूप में जीत दर्ज की। 2009 में भी जिंदल यह सीट जीत गए। हालांकि 2014 में उनको चुनाव में हार का सामना करना पड़ा।

राजनीति मिली विरासत में

नवीन जिंदल को राजनीति विरासत में मिली है। उनके पिता और माता दोनों हरियाणा कांग्रेस के बड़े नेताओं में शुमार रहे। पिता ओपी जिंदल कई बार विधायक और हरियाणा सरकार में मंत्री रहे। वह 1996 के लोकसभा चुनाव में कुरुक्षेत्र से सांसद भी बने। पिता ओपी जिंदल के निधन के बाद उनकी मां सावित्री जिंदल विधायक व हरियाणा की कांग्रेस सरकार में मंत्री भी रहीं।

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उद्योगपति नवीन जिंदल का उद्योगपति नेता सुशील गुप्ता से मुकाबला

1991 से 2024 तक कांग्रेस में लंबी राजनीतिक पारी खेल चुके नवीन जिंदल 2024 के चुनाव से पहले भाजपा में शामिल हुए हैं। और भाजपा ने भी उनकी अहमियत को देखते हुए उन्हें लोकसभा टिकट भी दे दिया है। हालांकि इस सीट पर मुकाबला रोचक होने वाला है, क्योंकि आम आदमी पार्टी ने भी अपने उद्योगपति नेता सुशील गुप्ता को मैदान में उतारा है। सुशील गुप्ता विपक्षी इंडिया गठबंधन के उम्मीदवार हैं और कांग्रेस खुलकर उनके समर्थन में प्रचार कर रही है। ऐसे में एक उद्योगपति से उद्योगपति का मुकाबला देखने को मिल सकता है।

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प्रत्येक भारतीय को राष्ट्रध्वज फहराने का दिलाया अधिकार

नवीन जिंदल के प्रयासों ने प्रत्येक भारतीय को तिरंगा फहराने का अधिकार दिलाया। नवीन जिंदल के निरंतर प्रयासों और इस मुद्दे पर लंबी प्रतिबद्धता के बाद ही भारतीय नागरिकों को सभी दिन राष्ट्रीय ध्वज फहराने का अधिकार मिला। पहले राष्ट्रध्वज को फहराने को लेकर कई सख्त नियम थे लेकिन नवीन जिंदल ने अदालती लड़ाई लड़कर आम लोगों को साल भर राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा फहराने की मंजूरी दिलाई। जिंदल ने कई स्थानों पर लगातार फहराने वाले राष्ट्रीय ध्वज भी लगवाए।

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कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आए उद्योगपति राजनेता नवीन जिंदल कुरुक्षेत्र लोकसभा सीट से चुनावी मैदान में है। अब देखना यह है कि कुरुक्षेत्र के चुनावी मैदान में नवीन जिंदल भाजपा की जीत का रथ आगे बढ़ा पाते हैं या नहीं।